*पटेल नगर क्षेत्र में हुई प्रॉपर्टी डीलर की हत्या का 24 घंटे के अंदर दून पुलिस ने किया खुलासा*
*घटना को अंजाम देने वाले एक अभियुक्त को पुलिस ने किया गिरफ्तार*
*पैसों के लालच में अभियुक्त द्वारा अपने एक अन्य साथी के साथ मिलकर दिया था घटना को अंजाम*
Dehradun: थाना पटेल नगर यमुनोत्री विहार फेस 2 चंद्रबनी में एक किराए के मकान पर एक व्यक्ति की संदिग्ध परिस्थितियों में मृत्यु के मामले का पुलिस ने खुलासा कर दिया है। घटनास्थल का निरीक्षण करने पर मकान में एक व्यक्ति मृत अवस्था में पड़ा मिला, प्रथम दृष्टया उक्त व्यक्ति की गला घोंटकर हत्या करना प्रकाश मे आया था। मृत व्यक्ति की पहचान मंजेश कुमार उम्र 42 वर्ष पुत्र सुरेंद्र कुमार निवासी गांजा माजरा खेड़ी जिला हरिद्वार के रूप में हुई थी।
उक्त मकान के मालिक प्रदीप कुमार बौडीयाल से पूछताछ मे पता चला कि उनके द्वारा विगत दो माह से अपने मकान के ऊपर एक कमरा सचिन पुत्र नरेश कुमार निवासी भगवानपुर हरिद्वार को किराये पर दिया था तथा उक्त कमरे मे उसके एक साथी अर्जुन का भी आना जाना था।
दिनांक 29-11-2024 की रात्रि मे उक्त कमरे मे सचिन व अर्जुन के साथ मृतक मंजेश भी रुका था तथा घटना के बाद से ही सचिन और अर्जुन अपने कमरे से फरार थे, जिनके फोन नम्बर बन्द है। पुलिस द्वारा मृतक के परिजनों से सम्पर्क कर उनको मौके पर बुलाया गया तथा प्रारम्भिक पूछताछ मे पता चला कि मृतक प्रोपर्टी का काम करता था तथा अर्जुन मृतक के साथ काफी समय से काम कर रहा था।
अभियुक्तों की गिरफ्तारी हेतु गठित टीम को जानकारी मिली कि घटना के बाद सुबह के समय पुलिस को देखकर दोनो अभियुक्त मकान के पीछे से छत से नीचे कूद गये थे, जिसमे सचिन के पैर मे चोट आयी थी, जो भगवानपुर अस्पताल मे अपना प्रारंभिक उपचार कराने के बाद आगे के उपचार के लिए सहरानपुर गया है, उक्त सूचना पर तत्काल एक टीम को सहरानपुर रवाना किया गया, जहाँ पुलिस टीम को जानकारी मिली कि सचिन को अपने पीछे पुलिस के आने की जानकारी मिलने पर वह गिरफ्तारी से बचने के लिए देहरादून कोर्ट मे सरेंडर होने के लिए वापस देहरादून गया है, जिस पर तत्काल जनपद की सीमाओं पर सघन चेकिंग अभियान चलते हुए पुलिस टीम द्वारा अभियुक्त सचिन को चेकिंग के दौरान आशारोड़ी के पास के जंगल से गिरफ्तार किया गया, जिससे पूछताछ में उसके द्वारा अपने साथी अर्जुन के साथ मिलकर मंजेश की गला घोट का हत्या किया जाना स्वीकार किया गया।
पूछताछ मे अभियुक्त द्वारा बताया गया कि पूर्व में भगवानपुर थाने से वह हत्या के मुकदमें में जेल गया था, जिसमे कुछ महिने पहले ही वह जमानत पर रिहा हुआ है। जेल मे उसके अन्य साथियों के माध्यम से उसकी जान-पहचान अर्जुन नाम के एक व्यक्ति से हुई। अर्जुन भी वर्ष 2019 मे डोईवाला मे एक हत्या के मामले मे जेल गया था और एक साल पहले जमानत पर बाहर आया था। अर्जुन द्वारा अभियुक्त को मंजेश नाम के एक पोर्पर्टी डीलर के साथ काम करने तथा मंजेश द्वारा ही उसका खर्चा उठाने की बात बतायी गयी।
अभियुक्त भी देहरादून मे रेपिडो का काम कर रहा था और उसने यमनोत्री विहार फेज-2 मे एक कमरा किराये पर लिया था जहाँ अक्सर अर्जुन उसके साथ खाने पीने के लिए बैठता था। घटना से चार-पाँच दिन पहले अर्जुन द्वारा अभियुक्त को बताया गया कि मंजेश ने पोर्पर्टी मे अच्छा पैसा कमा रखा है तथा उसकी प्रॉपर्टी का सारा काम वह ही देखता है। मंजेश के अकाउन्ट मे 38 लाख रुपये है, जिसकी सारी डिटेल उसके पास है, यदि अभियुक्त उसका साथ दे तो दोनों मंजेश को मारकर उसके सारे पैसे निकाल सकते है, जिसे दोनो आधा आधा बाट लेंगे। अर्जुन की बातों से जल्दी पैसा कमाने के लालच मे आकर अभियुक्त द्वारा मजेश की हत्या करने मे हामी भर दी, उसके बाद अर्जुन द्वारा एक-दो बार मंजेश से अभियुक्त की मुलाकात कराई।
योजना के मुताबिक दिनांक 29-11-2024 की रात दोनो अभियुक्तो ने मंजेश को अर्जुन के कमरे मे बुलाया, जहाँ पहले तीनों ने बैठकर शराब पी तथा रात करीब 11 बजे जैसे ही मंजेश अपने घर के लिए कमरे से निकला, दोनो अभियुक्तो ने मिलकर उसके हाथ पैर पकड़ लिए तथा उसका गला दबाकर उसे बेहोश कर दिया तथा पास पड़े जूते के फीते से उसका गला घोटकर उसकी हत्या कर दी।
घटना में फरार अन्य अभियुक्त अर्जुन की तलाश हेतु पुलिस टीमो द्वारा लगातार दबिशे दी जा रही है।