नवंबर से पूर्व बंद हो जाएगा गोल्डन कार्ड का अंशदान

बिना लाभ मिले जनवरी से कट रहा था पेंशनरों का अंशदान
पुराने आयुष्मान कार्ड करने पड़े थे निरस्त, दुविधा में कर्मचारी
आयुष्मान गोल्डन कार्ड पर पेंशनरों की दुविधा खत्म होने जा रही है। पेंशनरों को इस बात पर आपत्ति थी कि बिना लाभ मिले उनकी पेंशन से गोल्डन कार्ड का पैसा काटा जा रहा है। उधर उच्च न्यायालय ने इस संबंध में सरकार से अनिवार्य कटौती बंद करने के लिए कहा है। कर्मचारियों के आगे सबसे बड़ी दिक्कत फुल परिस्थितियों में आई जब गोल्डन कार्ड के लिए पहले से बनाएं आयुष्मान कार्ड को निरस्त करना पड़ा। ना तो कर्मचारी पुराने आयुष्मान कार्ड का लाभ उठा पाए और ना ही उनके लिए बनाए गए गोल्डन कार्ड प्रभावी साबित हो पाए।
राज्य सरकार के कर्मचारियों एवं पेंशनरों के लिए आयुष्मान स्वास्थ योजना की नई व्यवस्था की गई थी जिसके तहत गोल्डन कार्ड बनाए जाने से। इसके लिए पूर्व में गोल्डन कार्ड बनवाए भी गए लेकिन योजना धरातल पर फनी भूत नहीं हो पाई. गोल्डन कार्ड बनने के बाद बावजूद भी कर्मचारियों एवं पेंशनरों को अस्पतालों में स्वास्थ्य लाभ नहीं मिला लेकिन जनवरी माह से गोल्डन कार्ड के नाम पर पद के अनुरूप अंशदान करने लगा था। कर्मचारियों में सरकार की इस व्यवस्था को लेकर नाराजगी थी क्योंकि पैसा कटने के बावजूद भी अस्पताल इलाज नहीं कर रहे थे।
इस संबंध में अब कर्मचारियों को बड़ी राहत दी गई है और जल्दी ही पेंशनरों की कटौती बंद कर दी जाएगी। राज्य सरकार ने कोर्ट को बताया कि नवंबर माह के दूसरे सप्ताह से पूर्व यह कटौती बंद करने की व्यवस्था लागू कर दी जाएगी।